Monday, 16 January 2017

अगर आपका बेंक में खाता है तो ये पोस्ट आपके लिए है ..बाद में पछताने से अच्छा है जान ले ये बात

अप अपने  बैंक खाते की सुरक्षा में सावधानी न बरतेंगे तो आप अपने खाते के बलेंस से भी हाथ धो सकते हैं !!!


आइये जानते हैं कैसे


अभी कुछ दीन पहले की बात है |

मैं अपने भाई सोहन जो उस समय  किसी  कर्ज (LOAN) देने वाली कम्पनी में कार्यरत थे के साथ उनकी कंपनी के किसी कर्जदार रमेश  के घर गया था | हम वहां केवल वेरेफेई करने के उदेसय से गये थे |

जब हम उनके यहाँ पहुंचे तो उस परिवार के लगभग सभी सदस्य हमारे आस-पास खड़े हो गये जब तक हमे माजरा समझ आता उससे पहले सोहन ने अपना परिचय उन्हें दिया | तभी मैंने फुसर - फुसर ( जैसे वो लोग हमे बिना सुनाये कुछ बात कर रहे थे ) का अहसास हुआ |उनके चेहरे भी कुछ उतर से गये थे |

मुझे उनका व्यवहार अजीब सा लगा लेकिन अगले ही पल दो सदस्यों रमेश और एक अन्य  को छोडकर बाकि अपने - अपने काम में लग गये | अब सोहन भैया ने अपने आने का कारन उन्हें बताया | मैंने भी सोहन की तरफ इशारा किया की आखिर माजरा क्या था तो भैया समझ गये और उन्होंने पूछ ही लिया की आप सभी  लोग एकदम से निराश से क्यों हो गये |


तो उस परिवार के एक सदस्य विनोद ने हमे आपबीती सुनाइ | उसने  बताया की अभी कुछ दिन पहले उनके मोबाइल फ़ोन पर कोई कॉल आई थी | जिसमे उनके बैंक अकाउंट से सम्बन्धित जानकारी मांगी गयी | उनके कार्ड का नम्बर तथा गुप्त कोड यानि PIN जिसमे शामिल थे | एक बार तो मैंने मना कर  दिया था लेकिन कॉल करने वाले ने जब ये कहा की अगर वो मांगी गयी जानकारी नहीं देंगे तो कार्ड को BLOCK कर  दिया जायेगा | इसलिए  हमने वो जानकारी उसे देदी लेकिन हुआ वाही जिसका मुझे डर  था |

अगले ही दिन मुझे पैसों की जरूरत पड़ गयी तो मैं पैसे निकलवाने गया लेकिन हमारे अकाउंट में केवल कुछ ही रूपये बचे हुए थे | तभी मैंने बैंक शाखा से सम्पर्क किया उन्होंने मुझे कोई संतोषजनक जवाब न देते हुए पुलिस रिपोर्ट करने की सलाह दी तब तक मैं भी समझ गया था की हो न हो ये उस फोन कॉल करने वाले की महरबानी है | लेकिन अब क्या होने वाला था |

मैंने भी रिपोर्ट करने में ही भलाई समझी तो FIR दर्ज करवा के जब मने पूछा के साहब क्या कोई उमीद है पैसे वापिस आने की तो पुलिस ऑफिसर ने मुझे जवाब में कहा था | देखिये आपकी शिकायत पर हमने FIR दर्ज कर ली है और आपका पूरा सहयोग करेंगे तथा जैसे ही पैसे मिल जाते हैं | या कोई अन्य समाधान हुआ तो हम आपके ऐड्रेस पर सम्पर्क कर लेंगे |

जब तक विनोद अपनी बात पूरी करता माजरा मेरी भी समझ में आ चूका था |
और विनोद ने भी यही बताया की सारे सदस्यों को एक बार तो लगा की शायद आप लोग हमारे चोरी यानि बैंक खाते से गायब हुई रकम लोटने आये हैं .... बाते जरी रही जो लिखनी आवश्यक न होने के कारण आगे नहीं लिख रहा |

तो मित्रों रमेश के परिवार की आपबीती सुनने के बाद मुझे लगा की ये घटना तो किसी के साथ भी हो सकती है | क्यों न अपने मित्रों को सचेत किया जाये |

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